Shani Dev ke 9 Vahan aur Unka Prabhav :ज्योतिष शास्त्र में शनि को न्यायाधीश कहा गया है यानी मनुष्यों के अच्छे-बुरे कामों का फल शनिदेव ही उसे देते हैं। शनि चालीसा में शनिदेव के 7 वाहनों के बारे में बताया गया है। इसके अलावा शनिदेव के अन्य 2 वाहन भी हैं। शनिदेव के वाहनों की जानकारी इस प्रकार है-
वाहन प्रभु के सात सुजाना। दिग्गज, गर्दभ, मृग, अरुस्वाना।।
जम्बुक, सिंह आदि नखधारी। सो फल ज्योतिष कहत पुकारी।।
अर्थात- शनिदेव के सात वाहन हैं- हाथी, गधा, हिरण, कुत्ता, सियार, शेर, व गिद्ध।
इसके अलावा भैंसा व कौए को भी इनका वाहन माना गया।
हिरण
कुत्ता
सियार
गिद्ध
शनिदेव जिस वाहन पर सवार होकर किसी की राशि में प्रवेश करते हैं, उसी के अनुसार उसे अच्छे-बुरे फल की प्राप्ति होती है।
शनि के वाहन निर्धारण का तरीका –
व्यक्ति को अपने जन्म नक्षत्र की संख्या और शनि के राशि बदलने की तिथि की नक्षत्र संख्या दोनो को जोड कर योगफल को नौ से भाग करना चाहिए. शेष संख्या के आधार पर शनि का वाहन निर्धारित होता है । शनि का वाहन जानने की एक अन्य विधि भी प्रचलन मे है. इस विधि मे निम्न विधि अपनाते हैं:
शनि के राशि प्रवेश करने की तिथि संख्या+ ऩक्षत्र संख्या +वार संख्या +नाम का प्रथम अक्षर संख्या, सभी को जोडकर योगफल को 9 से भाग किया जाता है. शेष संख्या शनि का वाहन बताती है.
दोनो विधियो मे शेष 0 बचने पर संख्या नौ समझनी चाहिए।
शेष संख्या 1 होने पर शनि का वाहन गधा होता है।
शेष सँख्या 2 होने पर शनि का वाहन घोड़ा होता है।
शेष सँख्या 3 होने पर शनि का वाहन हाथी होता है।
शेष सँख्या 4 होने पर शनि का वाहन भैंसा होता है।
शेष सँख्या 5 होने पर शनि का वाहन सिंह होता है।
शेष सँख्या 6 होने पर शनि का वाहन सियार होता है।
शेष सँख्या 7 होने पर शनि का वाहन कौआ होता है।
शेष सँख्या 8 होने पर शनि का वाहन मोर होता है।
शेष सँख्या 9 होने पर शनि का वाहन हँस होता है।
विशेष – शेष संख्या 0 आने पर सँख्या 9 समझनी चाहिए- और शनि का वाहन हँस समझना चाहिए।
1.शनिदेव का वाहन गधा (Shani Dev ’s Vehicle – Donkey)
जब शनिदेव का वाहन गधा होता है तो यह शुभ नहीं माना जाता है। तब जातक को शुभ फलों को मिलने में कमी होती है। जातक को इस स्थिति में कायों में सफलता प्राप्त करने में लिए काफी प्रयास करना होता है। यहां जातक को अपने कर्तव्य का पालन करना हितकर होता हैं।
2.शनिदेव का वाहन घोड़ा (Shani Dev ’s Vehicle – Horse)
यदि शनिदेव का वाहन घोड़ा हो तो जातक को शुभ फल मिलते हैं। इस समय जातक समझदारी से काम लें तो अपने शत्रुओं पर आसानी से विजय पा सकता है। घोड़े को शक्ति का प्रतिक माना जाता है, इसलिय व्यक्ति इस समय जोश और उर्जा से भरा होता है।
3.शनिदेव का वाहन हाथी (Shani Dev ’s Vehicle – Elephant
यदि जातक के लिए शनि का वाहन हाथी हो तो इसे शुभ नहीं माना जाता है। यह जातक को आशा के विपरीत फल देता है। इस स्थिति में जातक को साहस और हिम्मत से काम लेना चाहिए। परीत स्थिति में घबराना बिलकुल नहीं चाहिए।
4.शनिदेव का वाहन भैसा (Shani Dev ’s Vehicle – Buffalo)
यदि शनिदेव का वाहन भैसा हो तो जातक को मिला जुला फल प्राप्ति की उम्मीद होती है। इस स्थिति में जातक को समझदारी और होशियारी से काम करना ज्यादा बेहतर होता है। यदि जातक सावधानी से काम न ले तो कटु फलों में वृद्धि होने की संभावना बढ़ जाती है।
5.शनिदेव का वाहन सिंह (Shani Dev ’s Vehicle – Lion)
यदि शनि की सवारी सिंह हो तो जातक को शुभ फल मिलता है। इस समय जातक को समझदारी और चतुराई से काम लेना चाहिए इससे शत्रु पक्ष को परास्त करने में मदद मिलती है। इस अवधि में जातक को अपने विरोधियों से घबराने या ड़रने की कोई आवश्यकता नहीं है।
6.शनिदेव का वाहन सियार (Shani Dev ’s Vehicle – Jacakal)
यदि शनि का वाहन सियार हो तो जातक को शुभ फल नहीं मिलते है। इस दौरान जातक को अशुभ सूचनाएं अधिक मिलने की संभावनाएं बढ़ जाती है। इस स्थिति में जातक को बहुत ही हिम्मत से काम लेना होता है।
7.शनिदेव का वाहन कौआ (Shani Dev ’s Vehicle – Crow)
यदि शनि का वाहन कौआ हो तो जातक को इस अवधि में कलह में बढ़ोतरी होती है। परिवार या दफ्तर में किसी मुद्दे को लेकर कलह या टकरावों की स्थिति से बचना चाहिए। इस समय जातक को शांति, संयम और मसले को बातचीत से हल करने का प्रयास करना चाहिए।
8.शनिदेव का वाहन मोर (Shani Dev ’s Vehicle – Peacock)
शनि की का वाहन हो तो जातक को शुभ फल देता है। इस समय जातक को अपनी मेहनत के साथ-साथ भाग्य का साथ भी मिलता है। इस दौरान जातक को समझदारी से काम करने पर बड़ी-बड़ी परेशानी से भी पार पाया जा सकता है। इसमें मेहनत से आर्थिक स्थिति को भी सुधारा जा सकता है।
9.शनिदेव का वाहन हंस (Shani Dev ’s Vehicle – Swan)
यदि शनि की का वाहन हो तो जातक के लिए बहुत शुभ होता है। इस सायम जातक अपनी बुद्धि औए मेहनत करके भाग्य का पूरा सहयोग ले सकता है। इस अवधि में जातक की आर्थिक में सुधार देखने को मिलता है। हंस को शनि के सभी वाहनों में सबसे अच्छा वाहन कहा गया है।
वाहन प्रभु के सात सुजाना। दिग्गज, गर्दभ, मृग, अरुस्वाना।।
जम्बुक, सिंह आदि नखधारी। सो फल ज्योतिष कहत पुकारी।।
अर्थात- शनिदेव के सात वाहन हैं- हाथी, गधा, हिरण, कुत्ता, सियार, शेर, व गिद्ध।
इसके अलावा भैंसा व कौए को भी इनका वाहन माना गया।
हिरण
कुत्ता
सियार
गिद्ध
शनिदेव जिस वाहन पर सवार होकर किसी की राशि में प्रवेश करते हैं, उसी के अनुसार उसे अच्छे-बुरे फल की प्राप्ति होती है।
शनि के वाहन निर्धारण का तरीका –
व्यक्ति को अपने जन्म नक्षत्र की संख्या और शनि के राशि बदलने की तिथि की नक्षत्र संख्या दोनो को जोड कर योगफल को नौ से भाग करना चाहिए. शेष संख्या के आधार पर शनि का वाहन निर्धारित होता है । शनि का वाहन जानने की एक अन्य विधि भी प्रचलन मे है. इस विधि मे निम्न विधि अपनाते हैं:
शनि के राशि प्रवेश करने की तिथि संख्या+ ऩक्षत्र संख्या +वार संख्या +नाम का प्रथम अक्षर संख्या, सभी को जोडकर योगफल को 9 से भाग किया जाता है. शेष संख्या शनि का वाहन बताती है.
दोनो विधियो मे शेष 0 बचने पर संख्या नौ समझनी चाहिए।
शेष संख्या 1 होने पर शनि का वाहन गधा होता है।
शेष सँख्या 2 होने पर शनि का वाहन घोड़ा होता है।
शेष सँख्या 3 होने पर शनि का वाहन हाथी होता है।
शेष सँख्या 4 होने पर शनि का वाहन भैंसा होता है।
शेष सँख्या 5 होने पर शनि का वाहन सिंह होता है।
शेष सँख्या 6 होने पर शनि का वाहन सियार होता है।
शेष सँख्या 7 होने पर शनि का वाहन कौआ होता है।
शेष सँख्या 8 होने पर शनि का वाहन मोर होता है।
शेष सँख्या 9 होने पर शनि का वाहन हँस होता है।
विशेष – शेष संख्या 0 आने पर सँख्या 9 समझनी चाहिए- और शनि का वाहन हँस समझना चाहिए।
1.शनिदेव का वाहन गधा (Shani Dev ’s Vehicle – Donkey)
जब शनिदेव का वाहन गधा होता है तो यह शुभ नहीं माना जाता है। तब जातक को शुभ फलों को मिलने में कमी होती है। जातक को इस स्थिति में कायों में सफलता प्राप्त करने में लिए काफी प्रयास करना होता है। यहां जातक को अपने कर्तव्य का पालन करना हितकर होता हैं।
2.शनिदेव का वाहन घोड़ा (Shani Dev ’s Vehicle – Horse)
यदि शनिदेव का वाहन घोड़ा हो तो जातक को शुभ फल मिलते हैं। इस समय जातक समझदारी से काम लें तो अपने शत्रुओं पर आसानी से विजय पा सकता है। घोड़े को शक्ति का प्रतिक माना जाता है, इसलिय व्यक्ति इस समय जोश और उर्जा से भरा होता है।
3.शनिदेव का वाहन हाथी (Shani Dev ’s Vehicle – Elephant
यदि जातक के लिए शनि का वाहन हाथी हो तो इसे शुभ नहीं माना जाता है। यह जातक को आशा के विपरीत फल देता है। इस स्थिति में जातक को साहस और हिम्मत से काम लेना चाहिए। परीत स्थिति में घबराना बिलकुल नहीं चाहिए।
4.शनिदेव का वाहन भैसा (Shani Dev ’s Vehicle – Buffalo)
यदि शनिदेव का वाहन भैसा हो तो जातक को मिला जुला फल प्राप्ति की उम्मीद होती है। इस स्थिति में जातक को समझदारी और होशियारी से काम करना ज्यादा बेहतर होता है। यदि जातक सावधानी से काम न ले तो कटु फलों में वृद्धि होने की संभावना बढ़ जाती है।
5.शनिदेव का वाहन सिंह (Shani Dev ’s Vehicle – Lion)
यदि शनि की सवारी सिंह हो तो जातक को शुभ फल मिलता है। इस समय जातक को समझदारी और चतुराई से काम लेना चाहिए इससे शत्रु पक्ष को परास्त करने में मदद मिलती है। इस अवधि में जातक को अपने विरोधियों से घबराने या ड़रने की कोई आवश्यकता नहीं है।
6.शनिदेव का वाहन सियार (Shani Dev ’s Vehicle – Jacakal)
यदि शनि का वाहन सियार हो तो जातक को शुभ फल नहीं मिलते है। इस दौरान जातक को अशुभ सूचनाएं अधिक मिलने की संभावनाएं बढ़ जाती है। इस स्थिति में जातक को बहुत ही हिम्मत से काम लेना होता है।
7.शनिदेव का वाहन कौआ (Shani Dev ’s Vehicle – Crow)
यदि शनि का वाहन कौआ हो तो जातक को इस अवधि में कलह में बढ़ोतरी होती है। परिवार या दफ्तर में किसी मुद्दे को लेकर कलह या टकरावों की स्थिति से बचना चाहिए। इस समय जातक को शांति, संयम और मसले को बातचीत से हल करने का प्रयास करना चाहिए।
8.शनिदेव का वाहन मोर (Shani Dev ’s Vehicle – Peacock)
शनि की का वाहन हो तो जातक को शुभ फल देता है। इस समय जातक को अपनी मेहनत के साथ-साथ भाग्य का साथ भी मिलता है। इस दौरान जातक को समझदारी से काम करने पर बड़ी-बड़ी परेशानी से भी पार पाया जा सकता है। इसमें मेहनत से आर्थिक स्थिति को भी सुधारा जा सकता है।
9.शनिदेव का वाहन हंस (Shani Dev ’s Vehicle – Swan)
यदि शनि की का वाहन हो तो जातक के लिए बहुत शुभ होता है। इस सायम जातक अपनी बुद्धि औए मेहनत करके भाग्य का पूरा सहयोग ले सकता है। इस अवधि में जातक की आर्थिक में सुधार देखने को मिलता है। हंस को शनि के सभी वाहनों में सबसे अच्छा वाहन कहा गया है।
Where is the result of deer. If vahan is deer then?
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